• September 8, 2024

श्री भोलानन्द सन्यास आश्रम में संस्थापक श्री भोलानंद जी महाराज की 96 वी पुण्यतिथि बड़े ही धूमधाम हर्षोउल्लास से मनाई

 श्री भोलानन्द सन्यास आश्रम में संस्थापक श्री भोलानंद जी महाराज की 96 वी पुण्यतिथि बड़े ही धूमधाम हर्षोउल्लास से मनाई
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कमल अग्रवाल( हरिद्वार) उत्तराखंड

जनपद हरिद्वार ÷ श्री भोलानन्द सन्यास आश्रम में आश्रम के संस्थापक श्री भोलानंद जी महाराज की 96 वी पुण्यतिथि बड़े ही धूमधाम हर्षोउल्लास के साथ संत महापुरुषों की गरिमा मय उपस्थित के बीच मनाई गई आश्रम के वर्तमान संस्थापक पीठाधीश्वर महामंडलेश्वर 1008 श्री तेजसानन्द गिरि जी महाराज के पावन सानिध्य में विशाल शोभायात्रा श्री भोलानन्द सन्यास आश्रम से निकाली गई आश्रम में अनेको धार्मिक अनुष्ठान तथा श्रीमद् भागवत पावन कथा का भक्तजनों ने रसपान कर अपने जीवन को धन्य किया इस अवसर पर एक विशाल संत समागम आयोजित किया गया

इस अवसर पर बोलते हुए जूना अखाड़े के पूर्व सचिव श्री महंत देवानंद सरस्वती महाराज ने कहा परम पूज्य स्वामी भोलानन्द जी महाराज ने संपूर्ण विश्व में ज्ञान की अलख जगाई इस अवसर पर बोलते हुए आश्रम के पीठाधीश्वर 1008 महामंडलेश्वर श्री तेजसानन्द गिरि महाराज ने कहा परम पूज्य गुरुदेव स्वामी भोलानन्द जी महाराज ज्ञान का एक विशाल सूर्य थे उन्होंने एक विरक्त सन्यासी का जीवन जिया तथा बिल्वकेश्वर पर्वतमाला में बनी एक गुफा में कई वर्षों तक कठोर तपस्या की उनके शरीर का तेज इतना बढ़ गया था की भक्तजन उनके दर्शन पाने के लिए और उनके ज्ञान की गंगा में गोते लगाने के लिए सदैव ललाहित रहते थे ऐसी तपो मूर्ति को परमधाम गए हुए 96 वर्ष बीत गए तथा महाराज जी 96 वर्ष की आयु में ही ब्रह्मलीन हुए थे आज 96 तथा 96 के दो योग मिल रहे हैं दो शताब्दियों परम पूज्य संस्थापक गुरुदेव भोलानंद जी महाराज को उनकी पावन पुण्य तिथि के अवसर पर जोड़ रही है यह योग भक्तों के जीवन में खुशियों की वर्षा करेगा

परम पूज्य गुरुदेव भोलानन्द जी महाराज की उनके जीवन में सुख समृद्धि के रूप में कृपा बरसेगी ऐसी पावन त्याग मूर्ति की पावन पुण्यतिथि के पावन अवसर पर संत महापुरुषों के पावन सानिध्य में आज हम गुरुदेव की 96 वी पावन पुण्यतिथि मनाते हुए परम पूज्य गुरुदेव ज्ञान मूर्ति त्याग मूर्ति तपो निधि ब्रह्मलीन स्वामी भोलानंन्द जी महाराज को सच्ची श्रद्धांजलि अर्पित करते हैं परम पूज्य गुरुदेव के तपोबल का प्रताप आज भी आश्रम में विद्यमान है इस अवसर पर बोलते हुए आश्रम के सचिव महंत दिगंबर राज गिरी महाराज ने कहा वे भक्त बड़े ही भाग्यशाली होते हैं जिन्हें गुरुजनों की सेवा का अवसर प्राप्त होता है

भोलानंद सन्यास आश्रम तपो मूर्ति संतों की तपोस्थली रहा है यह पावन स्थान भक्तों को कल्याण का मार्ग दिखाता है तथा परम पूज्य ब्रह्मलीन संस्थापक स्वामी भोलानन्द जी महाराज की कृपा अनुसार वर्तमान संस्थापक महामंडलेश्वर श्री श्री तेजसानन्द जी महाराज के पावन सानिध्य में आने वाले भक्तजनो साधु संतों ऋषि मुनियों की सेवा में हमेशा तत्पर रहता है यह हम लोगों का सौभाग्य है कि हमें ऐसे गुरुजनों का सानिध्य प्राप्त हुआ गुरु मिलाते हैं ईश्वर से गुरु ही देते ज्ञान भवसागर की नैया के गुरु ही तारणहार

इस अवसर पर महामंडलेश्वर विवेकानंद महाराज महामंडलेश्वर श्री भगवत स्वरूप महाराज महंत रवि देव महाराज सचिव महंत गोविंद दास महाराज श्री भोलानंद आश्रम के सचिव महंत दिगंबर श्री राज गिरी महाराज महंत देवानंद सरस्वती महाराज श्री गौतमानंद महाराज महामंडलेश्वर दुर्गादास महाराज महंत प्रह्लाद दास महाराज महंत कमलेशानंद स्वामी नित्य बोधानंद महाराज श्री शंकर बग्गा प्रवीण मनोजानंद सहित आश्रम के समस्त भक्तगण तथा संस्था के पदाधिकारी मुख्य रूप से उपस्थित थे

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