• October 20, 2024

गुमशुदा बच्चों, महिलाओं व पुरूषों की तलाश एवं पुनर्वास हेतु प्रदेश में वर्ष 2020 में चलाये गये ’’ऑपरेशन स्माइल’’ में अपेक्षाकृत अच्छे परिणाम परिलक्षित होने पर पुलिस महानिदेशक, उत्तराखण्ड महोदय के निर्देशन में दिनांक 15.09.2021 से दिनांक 14.10.2021 तक एक माह का ऑपरेशन स्माइल अभियान पुनः चलाया जा रहा है

 गुमशुदा बच्चों, महिलाओं व पुरूषों की तलाश एवं पुनर्वास हेतु प्रदेश में वर्ष 2020 में चलाये गये ’’ऑपरेशन स्माइल’’ में अपेक्षाकृत अच्छे परिणाम परिलक्षित होने पर पुलिस महानिदेशक, उत्तराखण्ड महोदय के निर्देशन में दिनांक 15.09.2021 से दिनांक 14.10.2021 तक एक माह का ऑपरेशन स्माइल अभियान पुनः चलाया जा रहा है
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गुमशुदा बच्चों, महिलाओं व पुरूषों की तलाश एवं पुनर्वास हेतु प्रदेश में वर्ष 2020 में चलाये गये ’’ऑपरेशन स्माइल’’ में अपेक्षाकृत अच्छे परिणाम परिलक्षित होने पर पुलिस महानिदेशक, उत्तराखण्ड महोदय के निर्देशन में दिनांक 15.09.2021 से दिनांक 14.10.2021 तक एक माह का ऑपरेशन स्माइल अभियान पुनः चलाया जा रहा है। उक्त अभियान में गुमशुदा बच्चों के साथ-साथ गुमशुदा पुरूषों व महिलाओं को भी तलाश किया जायेगा। प्रदेश स्तर पर उक्त अभियान की नोडल अधिकारी श्रीमती श्वेता चौबे, पुलिस अधीक्षक, अपराध एवं कानून व्यवस्था हैं।
पुलिस अधीक्षक, अपराध एवं कानून व्यवस्था द्वारा जनपद के ऑपरेशन स्माइल के नोडल अधिकारियों व टीम प्रभारियों के साथ ऑनलाईन गोष्ठी का आयोजन किया गया। सभी को निर्देशित किया गया कि उक्त अभियान में जनपद स्तर पर 01 अपर पुलिस अधीक्षक/पुलिस उपाधीक्षक को नोडल अधिकारी नियुक्त किये जाने तथा जनपद देहरादून, हरिद्वार, ऊधमसिंहनगर, नैनीताल में चार टीम (उपनिरीक्षक-1, आरक्षी-4) का गठन, जिसमें से 01 टीम एण्टी ह्यूमन ट्रैफिकिंग यूनिट की हो, शेष जनपदों में एण्टी ह्यूमन ट्रैफिकिंग यूनिट तथा रेलवेज में भी एक टीम (उपनिरीक्षक-1, आरक्षी-4) द्वारा अभियान चलाये जाने हेतु निर्देशित किया गया है। उक्त के अतिरिक्त प्रत्येक टीमों की सहायता हेतु 01-01 विधिक (अभियोजन अधिकारी) एवं टेक्निकल टीम (डी0सी0आर0बी0) का भी गठन किये जाने तथा अभियान में सम्मिलित होने के इच्छुक पुलिसकर्मियों को प्राथमिकता प्रदान करते हुए नियुक्त किया जाने हेतु भी निर्देशित किया गया है।
उक्त अभियान में अन्य सम्बन्धित विभागों/संस्थाओं का भी सहयोग लिया जाये। जनपद के ऐसे स्थान जहां गुमशुदाओं के मिलने की सम्भावना अधिक है, जैसे शेल्टर होम्स/ढाबे/कारखाने/बस अड्डे/रेलवे स्टेशन/धार्मिक स्थानों/आश्रमों आदि में विशेष रूप से अभियान को चलाया जाये। बरामद बच्चों/महिला/पुरूषों के सम्बन्ध में किसी अपराध के घटित होने की जानकारी मिलने पर नियमानुसार कठोर वैधानिक कार्यवाही की जाये।
यह भी निर्देशित किया गया कि सर्वप्रथम समस्त टीमों द्वारा अपने जनपद के पंजीकृत गुमशुदाओं का पूर्ण रूप से सत्यापन कर लिया जाये। टीमों द्वारा गुमशुदाओं की तलाश हेतु तीन प्रकार से कार्यवाही की जाये। प्रथम अपने जनपद के गुमशुदाओं को तलाश किया जाये। द्वितीय अपने जनपद में स्थापित समस्त सरकारी/गैर सरकारी बाल गृह/नारी निकेतन में रह रहे बालक/बालिकाओं/महिलाओं का सत्यापन कर उन्हें नियमानुसार उनके परिजनों से मिलवाने का प्रयास किया जाये तथा तृतीय सार्वजनिक स्थानों/ढाबे/कारखाने/बस अड्डे/रेलवे स्टेशन/धार्मिक स्थानों/आश्रमों आदि में यदि कोई ऐसा बच्चा/महिला/पुरूष जो गुमशुदा प्रतीत हो, उसे भी नियमानुसार उसके परिजनों से मिलवाने का प्रयास किया जाये।
जनपद देहरादून में एक तलाशी टीम को ऋषिकेश क्षेत्र तथा एक टीम को विकासनगर क्षेत्र आवंटित किया जाये। जनपद पौड़ी गढ़वाल में एक टीम को कोटद्वार क्षेत्र आवंटित किया जाये। समस्त टीमों को क्षेत्र आवंटित करते हुए टास्क दिया जाये व प्रतिदिन के कार्यों की समीक्षा नोडल अधिकारी द्वारा की जाये।
उक्त अभियान की समय-समय पर समीक्षा की जायेगी।

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